Monday, 19 July 2021

सहनशक्ति

जलील तो तूने बार बार किया

पर मैं हर बार माफ करता रहा 

शायद ये तेरी नासमझी होगी !

बस यही सोंचता रहा !!

पर तूने तो बेशर्मी की सारी हद 

पार कर दी,

मेरी इज्जत सरे आम निलाम कर दी

अब तक चुप था क्योंकि 

तू अकेले में वार करता था 

मेरा बेटा है तू इस लिये सबकुछ सहता था 

पर आज सहनशक्ति ने भी जवाब दे दिया 

आज तूने अपने बाप को जिन्दा ही मार दिया।।

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